भक्ति और श्रद्धा में क्षमता हो तो अवतरित हो जाते है भगवान
श्री वृंदावन धाम के योगेंद्र कृष्ण शास्त्री का कथन
बंगाली कैंप भागवत कथा का चतुर्थ पुष्प
चंद्रपुर, दि.
वामन अवतार की कथा भक्तों की रक्षा का सार है. संकट में भगवान किसी भी रूप में अवतरित हो सकते है. वह सामान्य मनुष्य भी बन सकते है. भक्ति और श्रद्धा में इतनी शक्ति का होना आवश्यक है. श्री वृंदावन धाम के प्रख्यात कथा प्रवक्ता पूज्य श्री योगेंद्र कृष्ण शास्त्री महाराज ने यह कथन शनिवार को किया. वे बंगाली कैंप में सोनम बहुउद्देशीय संस्था की ओर से आयोजित कथा का चतुर्थ पुष्प पीरो रहे थे.
आज उन्होंने राम जन्म और कृष्ण जन्म के विषय में अवतारों का महत्व और उसकी प्रासंगिकता समझाई. कथा विस्तार में उन्होंने बताया, गजेंद्र मोक्ष को स्वर्ग तथा यशदायक, कलियुग के समस्त पापों का नाशक, दुःस्वप्न नाशक और श्रेयसाधक कहा गया है जो लोग कर्ज से परेशान हैं और उनके लिये कर्ज चुकाना अत्यंत कठिन हैं उन्हें भी गजेंद्र मोक्ष के पाठ से समस्या का समाधान मिलता है.
कथा सफलतार्थ आयोजक संस्था के अध्यक्ष निताई घोष, कार्याध्यक्ष बिस्वजीत शाहा, अमोल हालदार, रमेश सरकार, कमलेश दास, मदन शाहा, मंदिर कमेटी के सन्तोष चक्रवर्ती, आर. जी. शाहा, सुखेंदु चक्रवर्ती, मनोरंजन रॉय, सन्तोष सरकार, नरेश तालेरा, नंदू वर्मा आदि समेत सभी प्रयासरत है.